PAK आर्मी चीफ मुनीर इस हफ्ते अमेरिका पहुंचेंगे:US आर्मी की 250वीं वर्षगांठ के जश्न में शामिल होंगे; इमरान खान की पार्टी विरोध करेगी

पाकिस्तान के आर्मी चीफ आसिम मुनीर इस हफ्ते अमेरिका दौरे पर पहुंचेंगे। वे शनिवार यानी 14 जून को वॉशिंगटन डीसी में अमेरिकी सेना की 250वीं वर्षगांठ के जश्न में शामिल होंगे। इस दिन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प का 79वां जन्मदिन भी है। इस मौके पर राजधानी वॉशिंगटन में एक परेड का आयोजन होगा। मुनीर का पहला अमेरिकी दौरा 2023 में हुआ था, तब उन्होंने तत्कालीन अमेरिकी रक्षा मंत्री लॉयड ऑस्टिन, तत्कालीन विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन और UN महासचिव एंटोनियो गुटेरेस से मुलाकात की थी। उस वक्त भारत ने कहा था कि पाकिस्तान की तरफ से आतंकवाद का समर्थन और क्रॉस-बॉर्डर हमलों को लेकर हमारी चिंताएं जगजाहिर हैं। हम उम्मीद करते हैं कि अन्य देश भी आतंकवाद के खिलाफ गंभीरता से कदम उठाएंगे। इमरान खान की पार्टी मुनीर का अमेरिका में विरोध करेगी मुनीर के दौरे से पहले ही विरोध के स्वर भी सुनाई देने लगे हैं। पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान की पार्टी तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) ने इस दौरे के दौरान विरोध प्रदर्शन की धमकी दी है। PTI के ओवरसीज अफेयर्स सेक्रेटरी सज्जाद बुरकी ने शनिवार को वॉशिंगटन में पाकिस्तान दूतावास के बाहर प्रदर्शन की अपील की है। उन्होंने X पर लिखा- व्हाइट हाउस को बताएं कि इस सरकार के साथ कोई भी समझौता पाकिस्तान की जनता स्वीकार नहीं करेगी। अमेरिकी मिलिट्री अफसर बोले- पाकिस्तान मजबूत सहयोगी मुनीर के दौरे से पहले पाकिस्तान को लेकर अमेरिका के सुर भी बदले-बदले नजर आ रहे हैं। अमेरिका की सेंट्रल कमांड के प्रमुख जनरल माइकल कुरिल्ला का कहना है कि अमेरिका को भारत और पाकिस्तान दोनों के साथ रिश्ते बनाए रखने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि पाकिस्तानी सेना इस्लामी स्टेट खुरासान (ISI-K) के खतरे से निपटने के लिए जरूरी है। उन्होंने यह बयान मंगलवार को हाउस आर्म्ड सर्विसेज कमेटी की सुनवाई के दौरान दिया गया। जनरल कुरिल्ला ने पाकिस्तान को आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में मजबूत सहयोगी बताया। उन्होंने कहा- अमेरिका को पाकिस्तान और भारत दोनों से रिश्ते रखने होंगे। ये बाइनरी स्विच नहीं है कि एक से रिश्ता रखेंगे तो दूसरे से नहीं रख सकते। हमे रिश्तों के फायदों को देखना चाहिए। रिपोर्ट्स का अनुमान- मुनीर के दौरे के पीछे ट्रम्प फैक्टर मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक मुनीर के दौरे की वजह चीन से भी जुड़ी हो सकती है। बीते कुछ वक्त में पाकिस्तान और चीन की नजदीकी बढ़ गई है। अमेरिका मुनीर को अपने यहां परेड में शामिल करके अमेरिका चीन के प्रभाव को कम करने की कोशिश कर सकता है। इसके अलावा पाकिस्तान में लिथियम, तांबा, सोना और दुर्लभ पृथ्वी खनिजों का भंडार है। लेकिन उसके पास जरूरी टेक्नोलॉजी और लागत की कमी है। ऐसे में यहां अमेरिका के लिए निवेश का मौका बन सकता है। मुनीर का दौरा अमेरिका और पाकिस्तान के बीच तनावपूर्ण सुरक्षा संबंधों को सुधारने की कोशिश भी हो सकता है। आसिम मुनीर को पिछले महीने फील्ड मार्शल बनाया गया पाकिस्तान के आर्मी चीफ आसिम मुनीर को पिछले महीने प्रमोट करके फील्ड मार्शल बनाया गया है। फील्ड मार्शल पाकिस्तान सेना में सर्वोच्च पद है। मुनीर का ये प्रमोशन भारत के खिलाफ ऑपरेशन बुनयान-उम-मार्सूस के दौरान आर्मी को लीड करने की वजह से किया गया। इससे पहले 1959 में अयूब खान ने पाकिस्तान में सत्ता परिवर्तन करने के बाद खुद को पहला फील्ड मार्शल घोषित किया था।

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