छत्तीसगढ़ में कोविड के 12 नए मरीज मिले:13 रिकवर भी हुए, अब टोटल 87 केस; एक्टिव 42, इनमें 35 होम आइसोलेशन में

छत्तीसगढ़ में गुरुवार को कोविड के 12 नए मरीज मिले हैं। इनमें रायपुर से 6 और बिलासपुर से 4 और दुर्ग से 2 मरीज हैं। वहीं 15 रिकवर भी हुए हैं। प्रदेश में अब तक कोविड के कुल 87 केस मिल चुके हैं। इनमें से 45 रिकवर हो चुके हैं। वहीं, 42 एक्टिव हैं। इनमें 35 होम आइसोलेशन में हैं। 6 ऑक्सीजन सपोर्ट पर हैं, वहीं रायपुर में 1 मरीज ICU में है। हालांकि, प्रशासन हाई अलर्ट मोड पर है। शासकीय जिला अस्पतालों और दूसरे हेल्थ सेंटर्स में टेक्निकल और नॉन-टेक्निकल सभी तरह के स्टाफ की ट्रेनिंग भी शुरू कर दी गई है। डॉक्टरों के मुताबिक, ज्यादातर मरीज होम क्वारैंटाइन में ही ठीक हो रहे हैं। 6 मई को सबसे ज्यादा मरीज सामने आए पिछले 4 दिनों में कुल 25 कोविड केस सामने आए। इस महीने कोविड के सबसे ज्यादा मरीज बीते शुक्रवार यानी 6 मई को मिले थे। एक ही दिन में रायपुर में 11, बिलासपुर में 5 और बालोद में 1 मरीज के साथ कुल 17 मरीज मिले थे। नया वैरिएंट आने के बाद से ये एक दिन में सबसे बड़ा आंकड़ा था। सैंपल कलेक्शन से लेकर कोविड मरीज के इलाज तक की ट्रेनिंग स्टाफ को दी जा रही है। साथ ही इमरजेंसी सिचुएशन से निपटने के लिए मॉकड्रिल भी कराई गई है। ओवर ऑल बात करें तो प्रदेश में अब तक रायपुर, दुर्ग, बिलासपुर, बालोद, बस्तर और बेमेतरा समेत कुल 6 जिलों में कोविड के पेशेंट मिल चुके हैं। होम क्वारैंटाइन में ठीक हो रहे मरीज मेकाहारा के डॉ. आर के पांडा के मुताबिक, ज्यादातर मरीज होम क्वारैंटाइन में ही ठीक हो जा रहे हैं, लेकिन उन मरीजों को ज्यादा खतरा है, जिन्हें पहले से दूसरी या एक से ज्यादा बीमारियां हैं। खासकर डायबिटीज पेशेंट और चेन स्मोकर्स नए वैरिएंट के चपेट में जल्दी आ सकते हैं। देशभर में कोविड से 77 मौतें वहीं, अगर देशभर की बात करें तो 9 राज्यों को छोड़कर बाकी स्टेट्स में कोविड का नया वैरिएंट JN.1 फैल चुका है। अब तक 7 हजार 154 मरीज मिल चुके हैं, जबकि 77 मौतें हो चुकी हैं। वहीं 6 हजार 861 से अधिक मरीज ठीक हो चुके हैं। एक्सपर्ट का कहना है कि नया वैरिएंट पहले की तुलना में कम खतरनाक हैं, फैटेलिटी रेट सिर्फ 2% है। मेकाहारा में कोविड के सीरियस केस अब तक नहीं आए मेकाहारा में पल्मोनरी मेडिसिन डिपार्टमेंट के हेड आर के पांडा ने बताया कि, कोविड के सीरियस केस अब तक नहीं आए हैं। मेकाहारा में 28 मई से कोविड ओपीडी शुरू कर दी गई है। कोविड का लक्षण दिखने पर तुरंत मरीजों की स्क्रीनिंग की जा रही है। मेकाहारा में अब तक 45 लोगों का RTPCR टेस्ट मेकाहारा में अब तक 45 से अधिक लोगों का RTPCR टेस्ट किया गया है। हालांकि पिछले कुछ दिनों में आंकड़े बढ़े हैं। स्वास्थ्यकर्मियों को कोविड पेशेंट के इलाज के लिए ट्रेनिंग दी जा रही है। इसके अलावा 15 बेड वाला कोरोना ICU रेडी रखा है। DKS में स्पेशल एडवाइजरी नहीं वहीं DKS के डिप्टी सुपरिटेंडेंट हेमंत शर्मा ने बताया कि, उन्हें कोविड को लेकर कोई स्पेशल एडवाइजरी नहीं मिली है। इसकी वजह से ये व्यवस्था शुरू नहीं हो पाई है। यहां कोविड टेस्ट नहीं हो रहा है। ऑक्सीजन प्लांट्स बंद, बिगड़ सकती व्यवस्था रायपुर में कोविड के बढ़ते केस के बीच सबसे बड़ी समस्या ऑक्सीजन प्लांट को लेकर दिखती है। लास्ट कोविड वेव के दौरान पीएम केयर फंड से सरकारी अस्पताल DKS, आयुर्वेदिक कॉलेज और अंबेडकर अस्पताल में अपना ऑक्सीजन प्लांट खड़ा किया गया था, जिससे मरीजों को वक्त पर सप्लाई मिल सके। अस्पताल परिसर में लगे ये ऑक्सीजन प्लांट बंद पड़े हैं। DKS में बीते 2 सालों में अस्पताल ने ऑक्सीजन सिलेंडर पर करीब 3.84 करोड़ रुपए खर्च कर दिए। हर महीने करीब 16 लाख रुपए का बिल सिर्फ सिलेंडर खरीदने में जा रहा है। डिमांड पूरी नहीं कर पाएंगे अभी के प्लांट्स- DKS DKS के डिप्टी सुपरिटेंडेंट हेमंत ने बताया कि CGMSC की ओर से उन्हें लिक्विड ऑक्सीजन प्लांट के लिए एनओसी नहीं मिली। DKS में अभी CGMSC की ओर से एक ऑक्सीजन प्लांट ऑपरेट हो रहा हैं, जिसकी कैपेसिटी 900 लीटर प्रति मिनट ऑक्सीजन जनरेट करनी की है। उन्होंने बताया कि ये प्लांट इस समय हॉस्पिटल की सिर्फ 60% डिमांड ही पूरी कर पा रहा है। बाकी 40% सिलेंडर हॉस्पिटल को प्राइवेट एजेंसी से बुलाने पड़ रहे हैं। ऐसे में कोविड केसेस अचानक बढ़ने पर ऑक्सीजन की डिमांड सरकारी सिस्टम फिलहाल पूरी करने की स्थिति में नहीं दिखता। ऐसे में लोगों को प्राइवेट सिलेंडर लेने होंगे। जिसके 1 जम्बो सिलेंडर की कीमत 300 से 400 के बीच होगी। एक सिलेंडर लगभग 4-5 मिनट ही चल पाता है। सर्दी-खांसी के मरीज लगातार बढ़ रहे- स्वास्थ्य विभाग छत्तीसगढ़ स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक सर्दी-खांसी के मरीज बढ़ रहे हैं। इन्फ्लुएंजा लाइक इलनेस (इली) और सीवियर एक्यूट रेस्पिरेटरी इलनेस (सारी) के लक्षण जिस भी मरीज में दिखे। उनके संबंध में तत्काल इंटीग्रेटेड हेल्थ इन्फॉर्मेशन सेंटर में रिपोर्ट करें। वहीं, इस कंडीशन में दी जाने वाली दवाइयों से जो मरीज ठीक हो, उनकी स्क्रीनिंग की जाए। तत्काल उनके सैंपल कोविड-19 जांच के लिए भेजा जाए। जीनोम सीक्वेंसिंग के सैंपल एम्स भेजे जाएंगे स्वास्थ्य विभाग के मुताबिक, जरूरत पड़े तो जीनोम सीक्वेंसिंग के सैंपल एम्स, रायपुर भी भेजे जा सकते हैं। वहीं मितानिनों के माध्यम से समुदाय स्तर पर ऐसे लक्षणों की रिपोर्टिंग सुनिश्चित करने पर जोर दिया गया है। इसके साथ ही अस्पतालों में जरूरी दवाइयों और सुरक्षा उपकरणों की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश दिए गए हैं। …………………………. कोरोना से जुड़ी ये खबर भी पढ़ें… नया कोविड वैरिएंट स्मोकर्स-डायबिटीज पेशेंट के लिए खतरनाक: छत्तीसगढ़ में 19 एक्टिव मरीज, ज्यादातर होम आइसोलेशन में हो रहे ठीक, फैटेलिटी रेट सिर्फ 2 प्रतिशत छत्तीसगढ़ में कोविड JN.1 को लेकर लाइट अलर्ट है। यहां 19 एक्टिव केस हैं। इनमें सबसे ज्यादा 13 रायपुर के हैं। वहीं दुर्ग में 3, बिलासपुर में 2 और बस्तर में 1 हैं। डॉक्टर्स के मुताबिक नया वैरिएंट पुराने कोविड वैरिएंट की तुलना में कम खतरनाक है। पढ़ें पूरी खबर…

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